बैंकिंग सिस्टम को ज्यादा सुरक्षित और सुदृढ़ बनाने के लिए RBI लगातार कदम उठा रही है । Double Factor Authentication से लेकर Firewalls तक, हर जरूरी कदम रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया उठा रही है । वर्ष 2021 के पहले महीने के पहले दिन से ही आरबीआई ने बैंकिंग सिस्टम को सुरक्षित बनाने के लिए एक बड़ा कदम उठाया जिसे हम PPS यानि Positive Payment System कहते हैं ।
Reserve Bank of India ने यह कदम चेक से संबंधित हो रहे फ्रॉड को रोकने के लिए उठाया है । इस आर्टिकल में हम इसी विषय पर आपको विस्तार से जानकारी देंगे । आपको निम्नलिखित बिंदुओं पर जानकारी दी जायेगी:
- PPS क्या है ?
- पॉजिटिव पेमेंट सिस्टम कैसे काम करता है ?
- पीपीएस से जुड़े नियम
- भारत के बड़े बड़े बैंकों में पीपीएस सिस्टम
What is PPS in Banking
बैंकिंग के क्षेत्र में PPS का पूर्ण रूप Positive Payment System है जिसे आरबीआई द्वारा 1 जनवरी, 2021 को सभी बैंकों पर लागू किया गया था । इस सिस्टम के लागू होने के बाद अब बैंक द्वारा चेक को प्रोसेस करने से पहले ही आपको चेक संबंधित जरूरी जानकारियां बैंक से सांझा करनी होगी ।
इससे जब आपका चेक बैंक तक पहुंचेगा तो उसकी जानकारियां आपके द्वारा प्रदान की गई जानकारियां से मिलान किया जायेगा । अगर कोई गलती पाई जाती है तो उचित कार्रवाई बैंक द्वारा की जाएगी । वर्ष 2020 में अप्रैल और सितंबर महीने के बीच कुल Rs. 64,681 crores का चेक फ्रॉड किया गया था । इतने बड़े पैमाने पर हो रहे चेक फ्रॉड की वझबसे आरबीआई ने यह कदम उठाया है ।
Positive Payment Service कैसे काम करता है ?
Positive Payment System (PPS) को रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया द्वारा 1 जनवरी, 2021 को सभी बैंकों पर लागू किया गया था । बड़े अमाउंट का पेमेंट करने के लिए ज्यादातर लोग NEFT और RTGS का ही इस्तेमाल करते हैं लेकिन चेक का इस्तेमाल आज भी कम नहीं हुआ है ।
ऐसे में अगर कोई व्यक्ति चेक इश्यू करता है तो उसके पहले ही उसे अपने बैंक से चेक संबंधित सारी जानकारियां सांझा करनी होंगी । चेक इश्यू करने वाले का नाम, दिनांक और कुल धनराशि का पूरा विवरण आपको सबसे पहले अपने बैंक को मेल करना होगा ।
जब CTS Clearing के द्वारा आपका चेक बैंक के सामने जायेगा तो आपके द्वारा भेजे गए डिटेल और चेक के डिटेल का मिलान किया जायेगा । अगर दोनों जानकारियां एक दूसरे से मेल खाती हैं तो आपका cheque clear किया जायेगा, अन्यथा बैंक जरूरी कार्रवाई करेगा ।
बैंकों में पीपीएस से जुड़े नियम
बैंकों में PPS यानि Positive Payment System से जुड़े कुछ प्रमुख नियम हैं जिनका पालन करके ही आप cheque issue और clear करवा सकते हैं । आपके लिए जरूरी है कि इन नियमों को ध्यान से पढ़ें:
1. Cheque clear होने के 24 घंटे पहले ही चेक डिटेल्स आपको बैंक से सांझा करना होगा । Cheque details आपको ऑफिशियल ईमेल द्वारा ही सांझा करना है ।
2. आपके मेल में एक excel sheet होनी चाहिए जिसमें Serial Number, Account Number, Cheque Number, Cheque issue date, Cheque Amount और Beneficiary Name बिल्कुल सही सही लिखा होना चाहिए ।
3. सारी जानकारियां अंग्रेजी भाषा में होनी चाहिए और लाभार्थी का नाम एकदम सही सही लिखा होना चाहिए ।
4. जैसे ही बैंक को आपका मेल प्राप्त होगा, आपको एक acknowledgement email भेजा जाएगा । इसके बाद बैंक आपकी सारी जानकारियां cross check की जायेंगी ।
5. अंत में बैंक या तो आपके PPS यानि Positive Payment System को स्वीकार करेगा या अस्वीकार करेगा । फैसला चाहे जो भी हो, आपको आपके registered email address पर इसकी जानकारी प्राप्त हो जायेगी ।
6. अगर जानकारियां mismatch हो जाती हैं तो इस परिस्थिति में आपका अनुरोध अस्वीकार कर दिया जायेगा । इसके बाद आप दोबारा से एक Fresh PPS बैंक को भेज सकते हैं ।
ध्यान दें कि आप Positive Payment System का मेल भेजने के लिए registered email address का ही इस्तेमाल करें । अगर आप ऐसा नहीं करते हैं तो cross verification में आपका अनुरोध स्वीकार कर दिया जायेगा ।
आरबीआई ने पीपीएस पर क्या कहा ?
Banking System में PPS लाने पर आरबीआई के विचार कुछ इस प्रकार हैं:
“बदले में, बैंक 50,000 रुपये और उससे अधिक की राशि के चेक जारी करने वाले सभी खाताधारकों के लिए इसे सक्षम करेंगे । जबकि इस सुविधा का लाभ खाता धारक के विवेक पर है, बैंक 5,00,000 रुपये और उससे अधिक की राशि के चेक के मामले में इसे अनिवार्य बनाने पर विचार कर सकते हैं ।”
“बैंकों को सूचित किया जाता है कि वे अपने ग्राहकों के बीच एसएमएस अलर्ट, शाखाओं, एटीएम के साथ-साथ अपनी वेबसाइट और इंटरनेट बैंकिंग के माध्यम से सकारात्मक भुगतान प्रणाली की विशेषताओं के बारे में पर्याप्त जागरूकता पैदा करें ।”
अगर आप इस विषय पर ज्यादा जानकारी चाहते हैं तो RBI के Positive Pay System for Cheque Truncation System पर जारी notification को पढ़ सकते हैं ।
FAQ on PPS
PPS यानि Positive Payment System से जुड़े प्रश्न अक्सर पूछे जाते हैं । इन सभी प्रश्नों का उत्तर आप नीचे पढ़ सकते हैं ।
Q1. बैंकों में PPS क्या है ?
PPS का पूर्ण रूप Positive Payment System है जिसे आरबीआई ने 1 जनवरी, 2021 को सभी बैंकों पर लागू किया था । इसे लागू करने के पीछे मुख्य उद्देश्य cheque fraud को रोकना था ।
Q2. पीपीएस कैसे काम करता है ?
Cheque issue करने से पहले ही इश्यू करने वाले व्यक्ति को संबंधित सारी जानकारी बैंक से ईमेल सिस्टम के जरिए सांझा करना होगा । इसके बाद चेक इश्यू किया जा सकता है । जब cheque clearence के लिए बैंक पहुंचेगा तो उसकी सारी जानकारियां और आपके द्वारा भेजी गई जानकारियो का मिलान किया जायेगा । अगर कोई त्रुटी नहीं होती है तो आपका चेक क्लियर हो जायेगा ।
Q3. Banking में PPS कब लाया गया ?
बैंकों में PPS 1 जनवरी, 2021 को रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया द्वारा लाया गया था ।
Q4. Positive Payment System के तहत कौनसी जानकारियां सांझा करनी पड़ती हैं ?
Positive Payment System के तहत आपको निम्नलिखित जानकारियां सांझा करनी होंगी:
1. सीरियल नंबर
2. लाभार्थी का नाम
3. खाता नंबर
4. चेक नंबर
5. चेक की तारीख
6. भुगतान की धनराशि
7. चेक के दोनों तरफ की फोटो
Q5. क्या 50 हजार से कम धनराशि के चेक के लिए PPS की जरूरत पड़ेगी ?
नहीं, 50 हजार से कम की धनराशि के चेक की जानकारियां आपको बैंक भेजने की कोई जरूरत नहीं है । पचास हजार रुपए से कम धनराशि के चेक बिना किसी समस्या के आसानी से इश्यू किए जा सकेंगे ।
Conclusion
बैंकों में सिक्योरिटी को बढ़ाने और बैंकिंग सिस्टम में फ्रॉड को रोकने के लिए PPS यानि Positive Payment System लाया गया । आरबीआई ने इसे 1 जनवरी, 2021 को सभी भारतीय बैंकों और लागू कर दिया था । हालांकि 50,000 रुपए से कम की धनराशि वाले चेक पर यह सिस्टम लागू नहीं होता है ।
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अगर आप इस विषय से संबंधित कोई भी प्रश्न पूछना चाहते हैं तो नीचे कमेंट करके पूछ सकते हैं । अगर आर्टिकल पसंद आया हो तो इसे शेयर जरूर करें ।