Politically Exposed Person पर विस्तार से जानकारी पढ़ने से पहले हाल की खबर पढ़िए । हाल ही में पश्चिम बंगाल की पार्टी तृणमूल कांग्रेस के पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी को शिक्षक भर्ती घोटाला में गिरफ्तार किया गया है । पार्थ चटर्जी और उनके करीबी अर्पिता चटर्जी के घर से लगभग 50 करोड़ रुपए, सोना, डॉलर मुद्रा आदि बरामद किया गया है ।
ऐसे घोटाले तभी सामने आते हैं जब कोई व्यक्ति मंत्रालय या संस्था में बड़े पद पर मौजूद हो । किसी मंत्रालय या संगठन में किसी बड़े पद पर आसीन होने से उस व्यक्ति द्वारा घोटालों और जालसाजी का खतरा भी बढ़ जाता है । ऐसे व्यक्तियों को ही PEP या Politically Exposed Person कहा जाता है ।
Politically Exposed Person क्या होते हैं ?
Politically Exposed Person यानि PEP वे व्यक्ति होते हैं जिन्हें एक प्रमुख सार्वजनिक कार्य सौंपा गया है । ऐसे व्यक्ति अपने प्रमुख पद या प्रभाव के माध्यम से, रिश्वतखोरी या भ्रष्टाचार में शामिल होने के लिए अधिक संवेदनशील होते हैं ।
संसद सदस्य, राज्य विधानसभाएं, न्यायाधीश, राज्यपाल और वरिष्ठ सरकारी अधिकारी इसके अंतर्गत आते हैं । इन पदों पर आसीन व्यक्ति आसानी से घोटाला कर सकता है और पैसों की हेरा फेरी में शामिल हो सकता है । इन पदों पर आसीन व्यक्तियों पर जांच एजेंसियों की भी हमेशा नजर रहती है ।
Are You Politically Exposed Person का उत्तर क्या दें ?
अगर कोई व्यक्ति आपसे पूछता है कि Are You Politically Exposed Person तो आपको इसका क्या उत्तर देना चाहिए ? इस प्रश्न का उत्तर देने के लिए आपको सर्वप्रथम अपने Designation यानि पद पर ध्यान देना चाहिए । आप किसी संस्था में किस पद पर मौजूद हैं, उसे ध्यान में रखकर ही इस प्रश्न का उत्तर दिया जा सकता है ।
मान लेते हैं कि आप राज्य सरकार के किसी मंत्रालय में वरिष्ठ अधिकारी हैं । ऐसे में आपके द्वारा जालसाजी और घोटाले करने की संभावना बढ़ जाती है । आप अपने पद का दुरुपयोग कर सकते हैं और रिश्वतखोरी या भ्रष्टाचार में शामिल हो सकते हैं । ऐसे में आपका उत्तर होगा कि हां, आप एक PEP यानि Politically Exposed Person हैं ।
Types of PEP in Hindi
PEP यानि Politically Exposed Person मुख्य रूप से तीन प्रकार के होते हैं । चलिए इन तीनों प्रकारों के बारे में संक्षेप में समझते हैं । अगर आप किसी बड़ी संस्था या सरकारी मंत्रालय में किसी पद पर कार्यरत हैं, तो आप नीचे दिए गए प्रकार में से अपना वर्ग चुन सकते हैं ।
1. Domestic PEPs
सबसे पहले साथ पर Domestic PEPs आते हैं । इन घरेलू उच्च जोखिम वाले व्यक्तियों को स्थानीय राजनीतिक दल के अधिकारियों, वरिष्ठ राजनेताओं, राज्य कंपनियों के प्रमुखों या वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों के रूप में परिभाषित किया गया है ।
दूसरे शब्दों में कहा जा सकता है कि एक व्यक्ति जो एक प्रमुख सार्वजनिक स्थिति रखता है या किसी घरेलू राजनीतिक दल या राज्य कंपनियों में कार्यरत है । ज्यादातर मामलों में इनका पद काफी बड़ा होता है जिस वजह से ये भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी के प्रति ज्यादा संवेदनशील होते हैं ।
2. Foreign PEPs
दूसरे स्थान पर Foreign PEPs यानि Foreign Politically Exposed Person आते हैं । इन्हें परिभाषित करते हुए कहा जा सकता है कि सरकार की ओर से एक महत्वपूर्ण सार्वजनिक पद धारण करने वाले व्यक्ति जो सरकार की सार्वजनिक स्थिति से भिन्न होते हैं जिसमें वित्तीय संस्थान स्थित है ।
सरकार का प्रमुख, उपराष्ट्रपति, मंत्रिमंडल, सरकार के कार्यकारी बोर्ड के सदस्य, एक वरिष्ठ सैनिक, केंद्रीय बैंक प्रबंधक, किसी भी राज्य के स्वामित्व वाली कंपनी के निदेशक, किसी पार्टी के वरिष्ठ अधिकारी आदि Foreign PEPs के अंतर्गत आते हैं ।
3. International PEPs
तीसरे स्थान पर International PEPs आते हैं जो किसी अंतरराष्ट्रीय संस्था में प्रमुख पदों पर कार्यरत होते हैं । इन्हें परिभाषित करते हुए कहा जा सकता है कि कोई व्यक्ति जो संयुक्त राष्ट्र (यूएन), विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) या उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन (एन) जैसे अंतरराष्ट्रीय संगठन में एक प्रमुख सार्वजनिक स्थिति या भूमिका रखता है ।
हालांकि इस वर्ग में भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी के कम ही मामले देखे गए हैं । ऐसा इसलिए क्योंकि अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं में कड़े नियम कानून होते हैं और सभी विभागों की निगरानी की जाती है ।
4. Family members और Close associates
पीईपी से संबंधित व्यक्तियों को स्वयं पीईपी के रूप में वर्गीकृत किया जा सकता है जैसे उसके परिवार या रिश्तेदार आदि । तो वहीं दूसरी तरफ एक व्यक्ति जिसका पीईपी के साथ घनिष्ठ संबंध है, चाहे वह सामाजिक या व्यावसायिक रूप से हो, उन्हें भी पीईपी के रूप में ही वर्गीकृत किया जाता है ।
यहां पर एक बात गौर करने वाली यह है कि PEP यानि Politically Exposed Person का यह बिल्कुल अर्थ नहीं कि व्यक्ति अपराधी है । उन्हें इस श्रेणी में रखने का मूल उद्देश्य इनपर नजर रखना और अन्य जरूरी कदम उठाना है ताकि वे भ्रष्टाचार में संलिप्त न हों या अगर हों तो आसानी से पकड़े जाएं ।
PEP और FATF का संबंध
Politically Exposed Person रिश्वतखोरी और भ्रष्टाचार के प्रति ज्यादा संवेदनशील होते हैं । इसलिए उनकी निगरानी करने के लिए कई संस्थाएं कार्यरत हैं । अंतरराष्ट्रीय स्तर पर FATF यानि Financial Action Task Force कार्य करती है जो Money Laundering और Terrorism Financing पर रोक लगाने का कार्य करती है ।
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यह 1989 में G7 की पहल पर स्थापित एक अंतर सरकारी संगठन है । जी7 यानि कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, यूनाइटेड किंगडम और संयुक्त राज्य अमेरिका का एक संगठन जिनकी पहल पर FATF का गठन किया गया था । खासतौर पर Terrorism Financing पर रोक लगाने के लिए इस संस्था का नाम हमेशा सुर्खियों में रहता है ।
भारत में कुछ बड़ी और बेहतरीन एजेंसियां हैं जो भारत में भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के लिया बनाई गई हैं । चलिए जानते हैं कि ये एजेंसियां कौन कौन सी हैं जो Politically Exposed Person पर नजर रखती हैं और भारत में भ्रष्टाचार के रोकथाम के लिए कार्य करती हैं:
- Central Vigilance Commission (CVC)
- The Central Bureau of Investigation (CBI)
- The Office of the Comptroller and Auditor General (C&AG)
- State Level Anti-Corruption bureaus (ACB)
Conclusion
PEP यानि Politically Exposed Person के लिए स्क्रीनिंग आमतौर पर खाता खोलने की शुरुआत में की जाती है, जिसे due diligence या Know Your Customer (KYC) कहा जाता है । इन व्यक्तियों के समय-समय पर चल रहे ड्यू डिलिजेंस के हिस्से के रूप में खातों की स्क्रीनिंग की जाती है । ये सावधानियां इसलिए रखी जाती हैं ताकि भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी पर लगाम लगाया जा सके ।
उम्मीद है कि आपको यह आर्टिकल पसंद आया होगा । अबतक आप समझ गए होंगे कि Are You Politically Exposed Person का जवाब क्या देना चाहिए और इसका अर्थ क्या होता है । किसी भी प्रश्न के लिए नीचे कॉमेंट करें और आर्टिकल पसंद आया तो शेयर करें ।